परिचय-
केंद्र सरकार के लाखों कर्मचारियों और पेंशनभोगियों के लिए बड़ी खुशखबरी है। दरअसल आपको बता दें कि केंद्र सरकार ने 16 जनवरी 2025 को आठवें वेतन आयोग (8th pay commission latest update) के गठन और उसकी Terms of Reference (ToR) को मंज़ूरी दे दी है। अब सबकी निगाहें इसकी सिफारिशों और उनके लागू होने की संभावित तिथि पर टिकी हैं।
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8th Pay Commission लागू होने की संभावित तिथि-
फिलहाल, ये कयास लगाए जा रहें है कि नए वेतन आयोग की सिफारिशें 1 जनवरी 2026 से लागू हो सकती हैं।
हालांकि, कुछ रिपोर्ट्स के मुताबिक, आयोग की आंतरिक प्रक्रिया और नीति निर्माण में देरी के चलते यह 2026 के उत्तरार्ध (latter half) या 2027 की शुरुआत तक टल सकती है।
फिटमेंट फैक्टर और नया वेतन ढांचा-
आठवें वेतन आयोग में फिटमेंट फैक्टर (Fitment Factor) को लेकर अनुमान लगाए जा रहे हैं:
संभावित सीमा: 2.5 से लेकर 2.86 तक
कुछ विश्लेषणों के अनुसार: 2.28 भी एक यथार्थवादी अनुमान है
इस आधार पर
न्यूनतम बेसिक वेतन: ₹18,000 ➝ ₹51,000–₹52,000
न्यूनतम पेंशन: ₹9,000 ➝ ₹22,500–₹25,700
यह परिवर्तन कर्मचारियों और पेंशनभोगियों (employees and pensioners) की कुल आय में एक बड़ा बदलाव ला सकता है।
भत्ते और योगदान में भी बदलाव-
वेतन के साथ-साथ, अन्य वित्तीय लाभों में भी वृद्धि संभावित है:
महंगाई भत्ता (DA), मकान किराया भत्ता (HRA), यात्रा भत्ता (TA)
NPS और CGHS में केंद्र की हिस्सेदारी
DA को बेसिक वेतन में मर्ज करने की चर्चा भी चल रही है, जिससे भविष्य में संयुक्त लाभ की गणना में बड़ा परिवर्तन आ सकता है।
देरी की संभावनाएं और कारण-
कुछ संभावित कारण जो देरी ला सकते हैं:
आयोग के Terms of Reference का पूर्ण निर्धारण न होना
आयोग सदस्यों की नियुक्तियों में देरी
आर्थिक और वित्तीय स्थिति की पुनर्समीक्षा
एरियर का लाभ मिलेगा?
यदि आठवां वेतन आयोग 1 जनवरी 2026 से लागू नहीं होता, तो पिछले वेतन आयोग की तरह बकाया एरियर मिल सकता है। इससे देरी के बावजूद कर्मचारियों को आर्थिक लाभ मिलेगा और वेतन बढ़ोतरी का असर पीछे की तारीख से लागू किया जा सकता है।